Reported by : Preeti Goutam
नई दिल्ली : दिसंबर 2018 में दिल्ली और गुरुग्राम की हवा का सैंपल लेकर उसकी जांच की गई थी जिसके नतीजे बताते हैं कि दिल्ली-एनसीआर की हवा में मैग्नीज, निकेल और लेड जैसे 3 बेहद जहरीली तत्व पाए गए हैं जो हमारी सेहत को हद से ज्यादा नुकसान पहुंचा सकते हैं। एनजीओ लंग केयर फाउंडेशन की तरफर से जारी की गई स्टडी के नतीजे बताते हैं कि दिल्ली-एनसीआर की हवा में पहले से मौजूद पीएम 2.5 के साथ-साथ अब ये जहरीले हेवी मेटल्स भी मिल गए हैं।
7 जगहों की हवा के लिए गए सैंपल : इस स्टडी का नाम था- डेथ इन एव्री ब्रेथ जिसमें दिल्ली और गुरुग्राम के 7 जगहों की हवा के सैंपल लेकर उनकी जांच की गई थी। हवा के इन सैंपल्स के नतीजों पर एक नजर डालें तो 5 सैंपल्स में मैग्नीज की मात्रा यूएस के स्टैंडर्ड लेवल से कहीं ज्यादा थी जबकि सभी सातों सैंपल में निकेल की मात्रा WHO के गाइडलाइन्स से कहीं ज्यादा पायी गई। लेड के लेवल की बात करें तो 6 जगहों के हवा के सैंपल में लेड की मात्रा यूस के सेफ स्टैंडर्ड लेवल से कहीं ज्यादा थी।
कैसे पहुंचता है नुकसान : हवा में पाए गए तीनों ही जहरीली तत्व मैग्नीज, लेड और निकेल न्यूरोटॉक्सिन्स हैं जो ब्रेन को डैमेज कर सकते हैं। लेड एक ऐसा खतरनाक हेवी मेटल है जो खासतौर पर बच्चों के लिए बेहद खतरनाक है। लेड की बेहद कम मात्रा के संपर्क में भी अगर बच्चे आ जाएं तो उनका आईक्यू, याददाश्त, व्यवहार और सीखने की क्षमता प्रभावित हो सकती है।
पीएम 2.5 का लेवल भी काफी अधिक : सभी सातों जगहों की हवा के सैंपल में पीएम 2.5 का लेवल वैधानिक लिमिट से कहीं अधिक था और इसकी मात्रा 90.3 ug/m3 से लेकर 563.5 ug/m3 जो केन्द्रीय पर्यावरण मंत्रालय द्वारा बनाए गए स्टैंडर्ड के हिसाब से करीब 9 गुना ज्यादा थी।